
ब्रजेश वर्मा :-
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने शनिवार शाम को आम चुनाव की घोषणा करते हुए कहा कि देश की सभी 543 लोकसभा सीटों पर सात चरणों में चुनाव होंगे, जिनमें 96.8 करोड़ मतदाताओं की भागीदारी होगी। साथ ही चार राज्यों सिक्किम, अरुणाचल प्रदेश, उड़ीसा और आंध्रप्रदेश के विधान सभा सहित देश के विभिन्न विधानसभा की कुल 26 सीटों पर उप चुनाव भी कराए जायेंगे। इसी के साथ पूरे देश में आचार संहिता लागू कर दी गई है।
पहले चरण का मतदान 19 अप्रैल से शुरू होकर अंतिम चरण का मतदान 1 जून को समाप्त होगा। मतगणना की गिनती 4 जून से शुरू होगी।
लोकसभा चुनाव में सात चरणों के मतदान की तिथि इस प्रकार होगी:-
पहला चरण– 19 अप्रैल
दूसरा चरण– 26 अप्रैल
तीसरा चरण – 7 मई
चौथा चरण – 13 मई
पांचवां चरण – 20 मई
छठा चरण – 25 मई
सातवां चरण –1 जून
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने दिल्ली में एक प्रेस कांफ्रेंस करते हुए कहा कि देश के कुल 96.8 करोड़ मतदाताओं में से इस बार 1.2 करोड़ ऐसे मतदाता होंगे, जो पहली बार अपने मतों का प्रयोग करेंगे।
युवा मतदाताओं की संख्या पूरे भारत में 21.5 करोड़ है, जबकि 85 वर्ष से अधिक उम्र वाले मतदाताओं की संख्या 82 लाख है। युवा मतदाताओं में लड़कियों की संख्या 85 लाख है और देश के 12 ऐसे राज्य हैं जहां पुरुषों से अधिक महिला मतदाता हैं।
इस बार 85 वर्ष के अधिक उम्र वाले मतदाता यदि बूथों पर न जा पाएं तो उनका मत उनके घरों से ही प्राप्त किया जायेगा।
लोकसभा और चार राज्यों के चुनाव के इस महापर्व को शांतिपूर्वक संपन्न कराने के लिए पूरे देश में 10.5 लाख पोलिंग बूथ बनाए गए हैं। इन मतदान केंद्रों पर 1.5 लाख पोलिंग ऑफिसर्स लगाए जायेंगे। मतदान EVM के द्वारा होगा, जिसके लिए 55 लाख मशीनें उपयोग में लाई जाएंगी।
मुख्य चुनाव आयुक्त ने दुनिया के इस सबसे बड़े लोकतंत्र में चुनाव संपन्न कराने हेतु चार प्रकार की कठिनाइयों से कड़ाई से निबटने का फैसला किया है। उन्होंने कहा कि पैसा, बाहुबल, माओवाद और गलत सूचना फैलाना चार ऐसे संकट हैं, जिनपर कठोरता से नकेल कसा जायेगा।
मुख्य चुनाव आयुक्त राजीव कुमार ने स्पष्ट रूप से राजनीति में अपराधीकरण पर चिंता जाहिर करते हुए कहा कि अपराधी छवि वाले उम्मीदवारों को कम से कम तीन बार मीडिया में विज्ञापन देकर अपने बारे में मतदाताओं को जानकारी देनी होगी। साथ ही उन्होंने कहा कि जो दल अपराधी छवि वाले उम्मीदवार खड़े करता है उसे यह बताना होगा कि उसने ऐसा क्यों किया। क्या समाज में उन दलों को साफ सुथरे छवि वाले उम्मीदवार नहीं मिले जो उन्होंने अपराधियों को टिकट दिया?
उन्होंने कहा कि चुनाव में हिंसा के खिलाफ हर तरह की कड़ी कार्यवाही की जाएगी। सोशल मीडिया में भ्रम पैदा करने वाली खबरों पर भी एक्शन लिया जाएगा, जिसके लिए हर जिले में चुनाव आयोग के एक अधिकारी इसपर नजर रखेंगे।
उन्होंने बताया कि पिछले चुनाव में 67 प्रतिशत मतदाताओं ने मतदान किया था, किंतु उन्हें उम्मीद है इस बार अधिक संख्या में लोग अपना मतदान करेंगे।

